पत्रकारों की समस्या को नजरअंदाज कर रहे हैं स्थानीय प्रशासन, नहीं हो रहा मुख्यमंत्री निर्देशों का पालन
विश्व सेवा संघ, संवाददाता
सिद्धार्थनगर। सोशल मीडिया पर प्राप्त जानकारी के अनुसार आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में इस समय पत्रकारों के उत्पीड़न से सम्बंधित मामले प्रकाश में अधिक आ रहे हैं। पत्रकारों की समस्याएं लगातार अखबारों में प्रकाशन भी किया जा रहा है। जिसको लेकर पत्रकारों की सुनवाई व सुरक्षा की बात तो दूर उल्टे बिना जांच-पड़ताल के ही पत्रकारों पर ही पुलिस द्वारा कार्यवाही कर दी जाती है। अब यह अपना दर्द व समस्या समाधान के लिए कहें तो किससे कहें, जबकि वहीं उत्तर प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पत्रकारों की सुरक्षा और उनके मान सम्मान को लेकर दिशा निर्देश भी जारी कर चुके हैं लेकिन अफसोस इसका पालन ना के बराबर किया जा रहा है। इन्हीं सब प्रकरणो को देखते हुए पत्रकार एकता संघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष के डी सिंह, प्रभारी दिनेश दीक्षित तथा प्रदेश विधिक सलाहकार उमेश कुमार अस्थाना एडवोकेट ने चिंता जताई है। वहीं राष्ट्रीय अध्यक्ष के डी सिंह ने कहा कि लोकतंत्र के चौथे स्तम्भ के पत्रकारों के मान सम्मान, सुरक्षा व पत्रकारों की समस्या समाधान व न्याय दिलाने हेतु उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री, पुलिस महानिदेशक तथा प्रमुख सचिव उत्तर प्रदेश शासन को तीन पेज का लिखित पत्राचार भेजा गया है। पत्रकार की समस्याओं की ओर ध्यान केंद्रित करने हेतु पत्राचार के माध्यम से अवगत कराया गया कि उत्तर प्रदेश के रायबरेली पत्रकार सुरेश अग्रहरि, गोरखपुर पत्रकार रामानंद कुमार, हरदोई पत्रकार सत्यदेव शुक्ला, जौनपुर पत्रकार विशाल सेठ,बस्ती पत्रकार बी डी पांडेय, प्रतापगढ़ पत्रकार मुकेश पांडेय की समस्या का जिक्र किया गया। इसके साथ यह भी बताया गया कि रामनगरी जनपद अयोध्या में पत्रकार नीलम सिंह जिनके पिता की हत्या 2023 मे हुई थी जिसमें चार लोगों पर बड़ी मुश्किल से मुकदमा लिखे जाने के बाद भी अभी तक सिर्फ एक आरोपी को गिरफ्तार किया गया शेष तीन आरोपियों को पुलिस अभी तक गिरफ्तार नहीं कर सकी है। पीड़ित महिला पत्रकार नीलम सिंह की जान को खतरा बना हुआ है जो न्याय पाने के लिए दर दर भटकने पर मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि पत्रकारों की समाधान का होना चाहिए। यही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी से आशा करता हूं।